Punjab-Chandigarh

192 MORE CITIZEN SERVICES OF 7 DEPTS FROM SEWA KENDRAS: CS

पंजाब सरकार ने आज राज्य भर के सेवा केन्द्रों में 7 विभागों की 192 और नागरिक सेवाएं शुरू करने का फ़ैसला किया है। इसका उद्देश्य नागरिकों को समयबद्ध और परेशानी रहित नागरिक सेवाएं उपलब्ध करवाना है, जिससे उनको बार-बार दफ़्तरों के चक्कर न लगाने पड़ें।
इस सम्बन्धी फ़ैसला आज यहाँ मुख्य सचिव श्रीमती विनी महाजन की अध्यक्षता अधीन हुई एक उच्च स्तरीय मीटिंग में लिया गया।
राज्य में चल रहे प्रसासनिक सुधारों की प्रगति की समीक्षा करते हुए मुख्य सचिव ने प्रशासनिक सुधार एवं लोक शिकायत विभाग को निर्देश दिए कि नागरिकों की सुविधा के लिए सेवा केन्द्रों से इन सेवाओं को शुरू करने से पहले इन्हें सरल बनाने के साथ-साथ इनकी री-इंजीनियरिंग की जाए।
श्रीमती महाजन ने विभाग को यह सेवाएं और अधिक सरल और समयबद्ध ढंग से शुरू करने के निर्देश दिए और कहा कि यह यकीनी बनाया जाए कि नागरिकों को सरकारी दफ़्तरों के बार -बार चक्कर न लगाने पड़ें।
इस संबंधी जानकारी देते हुए अतिरिक्त मुख्य सचिव (प्रशासनिक सुधार) अनिरुद्ध तिवाड़ी ने कहा कि नागरिक सेवाओं का लाभ लेने के लिए लगभग 10 लाख नागरिक हर महीने सेवा केन्द्रों में आते हैं और सभी जिलों में 0.5 प्रतिशत से भी कम सेवाएं लम्बित हैं।
जि़क्रयोग्य है कि पुलिस विभाग से सम्बन्धित नागरिक सेवाएं जैसे फ़र्द, सांझ केंद्र सेवाएं, आयूष्मान भारत कार्ड और ई-कोर्ट फीस पहले ही सेवा केन्द्रों से सफलतापूर्वक शुरू की जा चुकी हैं, जोकि सरकार के नज़रिए से समयबद्ध नागरिक सेवाएं प्रदान करने के लिए एक प्रभावशाली प्रणाली साबित हुई है।
सेवा केन्द्रों से 192 और नागरिक सेवाओं की शुरूआत की योजना को अंतिम रूप देने की मंज़ूरी देते हुए मुख्य सचिव ने प्रशासनिक सुधार संबंंधी विभाग को इन सेवाओं की शुरूआत की रूप-रेखा को अंतिम रूप देने के लिए सम्बन्धित विभागों के साथ बैठकें करने के निर्देश दिए।
उन्होंने लाभार्थियों की सुविधा के लिए अजऱ्ी फार्म, वर्कफ्लोज़ और आउटपुट सर्टिफिकेट जैसी प्रक्रियाओं के सरलीकरण, री-इंजीनियरिंग, मानकीकरण और सुधार की ज़रूरत पर ज़ोर दिया।
अतिरिक्त मुख्य सचिव (प्रशासनिक सुधार) ने विभिन्न नागरिक सेवाओं जैसे कि निवास स्थान, आमदन, क्षेत्र, विवाह और सोसायटियों की रजिस्ट्रेशन के सर्टिफिकेट जारी करने की सिफारिशों की री-इंजीनियरिंग की सरकारी प्रक्रिया के बारे में विस्तार में पेशकारी दी।
यह सिफारिशें अजऱ्ी फार्मों के सरलीकरण, एप्लीकेशन की प्रक्रिया के लिए माँगे जाने वाले दस्तावेज़ों की संख्या को घटाना, काम की प्रगति को तेज़ करना, आउटपुट सर्टीफिकेटों का मानकीकरण, दफ़्तरों में नागरिक के चक्कर घटाना और अन्य सुधारों पर केन्द्रित हैं।
री-इंजीनियरिंग की सिफारिश, आई.टी. योग्यता और अंतिम अमल की सरकारी प्रक्रिया को मुकम्मल रूप देने के लिए अतिरिक्त मुख्य सचिव, प्रशासनिक सुधारों के नेतृत्व अधीन एक कमेटी का गठन किया गया, जिसमें जनरल प्रशासन, राजस्व और प्रशासन सुधार विभागों के मैंबर शामिल हैं। कमेटी सेवा केन्द्रों से सार्वजनिक सेवाएं प्रदान करने की प्रक्रिया में सुधार लाने और पब्लिक सर्विस डिलीवरी रिफॉर्मस पर भी ध्यान केन्द्रित करेगी।
मीटिंग में अन्यों के अलावा प्रमुख सचिव जनरल प्रशासन वी.पी. सिंह, डायरैक्टर प्रशासनिक सुधार परमिन्दरपाल सिंह, स्टेट नोडल अफ़सर गवर्मैंट प्रोसेस री-इंजीनियरिंग मनप्रीत सिंह और स्टेट नोडल अफ़सर सेवा केंद्र प्रोजैक्ट विनेश गौतम मौजूद थे।

Spread the love

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button